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प्रतापगढ़ :समाज के आर्थिक विकास में महिलाओं और समूहों का योगदान प्रशंसनीयः डीडीएम नाबार्ड

वेद व्यास त्रिपाठी

प्रतापगढ़:विश्व महिला दिवस के अवसर आज नाबार्ड, प्रतापगढ़ के तत्वावधान में  ढकवा क्षेत्र में एक गोष्ठी का आयोजन किया गया।


जिसमें नाबार्ड द्वारा बनाए गए विभिन्न समूहों की महिलाओं को उनके अधिकार और उनके द्वारा हमारी अर्थव्यवस्था में योगदान पर विशेष चर्चा की गई।


 

इस अवसर पर नाबार्ड के जिला प्रबंधक श्री बृजेंद्र कुमार ने महिलाओं से आवाहन किया कि नाबार्ड की योजनाओं के द्वारा महिलाओं को जितने भी प्रशिक्षण दिये गए, महिलाओं ने जो भी कुछ सीखा, उसे वे अपने जीवन में कार्य रूप में लाएं और साथ ही साथ विकास की दिशा में आगे बढ़ते हुए अपने परिवार की आर्थिक स्थितियों को सुदृढ बनाने में महती भूमिका अदा करें। 


इस अवसर पर उन्होंने यह भी कहा कि नाबार्ड की विभिन्न योजनाओं से प्रशिक्षित महिलाओं को क्लस्टर लेवल पर एक हाट अथवा दुकान की भी व्यवस्था दी जायेगी ।


जिसमें सामूहिक स्तर पर संचालित की जाने वाली उस दुकान का किराया संबंधित विविध खर्च सेल्समैन का खर्चा बिजली आदि खर्चों के लिए भी नाबार्ड 2 वर्षों तक योगदान देगा। 


जिससे महिलाओं के समूह अपने उत्पाद को उचित रूप से मार्केट दिला सके और इन 2 वर्षों के मध्य बाजार में उनके द्वारा बनाए गए प्रोडक्ट एक उचित स्थान प्राप्त कर सकें। 


इस अवसर पर आरसेटी के निदेशक जितेंद्र कुमार ने महिलाओं को आरसेटी द्वारा हुनरमंद और आत्मनिर्भर बनाने के लिए किये जा रहे विभिन्न प्रयासों की भी चर्चा की। 


बड़ौदा स्वरोजगार विकास संस्थान के वित्तीय साक्षरता एवं ॠण समन्वयक शिशिर खरे ने अपने उद्बोधन में नारी सशक्तिकरण को बढ़ावा देने के लिए सरकार के विभिन्न प्रयासों की चर्चा की और महिलाओं को अवगत कराया कि भारत में भी महिला दिवस व्यापक रूप से मनाया जाने लगा है। 


पूरे देश में इस दिन महिलाओं को समाज में उनके विशेष योगदान के लिए सम्मानित किया जाता है और समारोह आयोजित किए जाते हैं। महिलाओं के लिए काम कर रहे कई संस्थानों द्वारा जगह-जगह महिलाओं के लिए प्रशिक्षण शिविर लगाए जाते हैं, सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है। 


समाज, व्यवसाय, कला, संगीत, फिल्म, साहित्य, शिक्षा क्षेत्रों में श्रेष्ठ प्रदर्शन के लिए महिलाओं को सम्मानित किया जाता है। 


आज भारत में आज महिला आर्मी, एयर फोर्स, पुलिस, आईटी, इंजीनियरिंग, चिकित्सा जैसे क्षेत्र में पुरुषों के कंधे से कंधा मिला कर चल रही हैं। माता-पिता अब बेटे-बेटियों में कोई फर्क नहीं समझते हैं।


अध्यक्षीय वक्तव्य में ग्रामीण बैंक के पूर्व वरिष्ठ प्रबंधक श्री एस. एन. मिश्रा ने स्वरोजगार द्वारा ग्रामीण महिलाओं को आत्मनिर्भर एवं हुनरमंद बनने की आवश्यकता पर जोर दिया, उन्होंने समूहों के माध्यम से किये जा रहे सामाजिक समरसता के प्रयासों की भी सराहना की।


इस अवसर पर बड़ौदा यूपी बैंक के ढकवा शाखा के प्रबंधक शिवम कुशवाहा, अधिकारी प्रकाश सिंह सहित भूमि जन कल्याण समिति, जौनपुर तथा क्षेत्र के धर्मेंद्र सिंह,  विनोद चौरसिया, इंद्र बहादुर, पंकज कुमार, धीरेंद्र सिंह, अशोक कुमार, जयप्रकाश, अवधेश कुमार, बच्चा सिंह, फतेह बहादुर सिंह आदि की उपस्थिति उल्लेखनीय रही। 


इस अवसर पर खाद्य प्रसंस्करण में प्रशिक्षण प्राप्त महिलाओं को प्रमाण पत्र भी वितरित किया गया। कार्यक्रम का संचालन धर्मेंद्र सिंह द्वारा किया गया।


 क्षेत्र में नाबार्ड द्वारा किए जा रहे विभिन्न प्रशिक्षण कार्यों के माध्यम से सामूहिक सामूहिक विकास के लिये, सभी महिलाओं ने नाबार्ड के हर प्रशिक्षण कार्यक्रम द्वारा उनके आत्मनिर्भर बनने के लिये, नाबार्ड के प्रतिनिधि बृजेन्द्र कुमार को धन्यवाद ज्ञापित किया।

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