Type Here to Get Search Results !

Action Movies

Bottom Ad

करनैलगंज:निशुल्क बोरिंग योजना में बड़े पैमाने पर घोटाला



रजनीश/ज्ञान प्रकाश

करनैलगंज(गोंडा)। किसानों को सरकार द्वारा मिलने वाली निशुल्क बोरिंग योजना में बड़े पैमाने पर घोटाला निकल कर सामने आया है।


 जिसमें करीब डेढ़ सौ से अधिक किसानों को अनुदान देने का प्रमाण विभाग के पास है मगर किसानों की बोरी नहीं हुई। इस संबंध में बोरिंग टेक्नीशियन ने सूची बनाकर सिंचाई विभाग के उच्च अधिकारियों को सौंपा है। 


वहीं इस योजना के ब्लॉक स्तर पर जिम्मेदार अवर अभियंता से विभाग में इस संबंध में स्पष्टीकरण भी तलब किया है। 


यह खेल केवल एक ही ब्लॉक में नहीं बल्कि पूरे जिले के सभी ब्लॉकों में चल रहा है। जिसमें प्रत्येक किसान को सात हजार रुपए निशुल्क बोरी बोरिंग कराने का अनुदान मिलता है। 


इसमें विभाग किसान के खाते में पैसा भेजता है और किसानों को 140 रुपये की कटौती करने के बाद 6 हजार 860 रूपते का अनुदान मिलता है। 


इसके साथ साथ जो सरकारी डीलर होते हैं उनके माध्यम से किसानों को पाइप, जाली, डोरी, कपड़ा, रिफ्लेक्टर वाल्ब आदि जो बोरिंग का सामान उपलब्ध कराया जाता है। 


मगर यहां किसानों का अनुदान देने की बात तो कही जा रही है। मगर बोरिंग कहीं नहीं कराई गई। जानकारी के मुताबिक विभागीय अनुदान के भुगतान के बाद रिफ्लेक्टर वाल्ब नहीं मिला इसलिए बोरिंग न कराने वाले किसानों की संख्या 41, विभागीय अनुदान का भुगतान हो गया रिफ्लेक्स वाल्ब, चेक वाल्व दिया गया उसके बावजूद बोरिंग नहीं हुई ऐसे किसानों की संख्या 24, लाभार्थी को रिफ्लेक्स वाल्ब नहीं मिला ।


इसलिए बोरिंग नहीं हुई ऐसे किसानों की संख्या है 76, लाभार्थियों को भुगतान दे दिया गया बोरिंग सामग्री व पाइप भी दे दिया गया ।


उसके बावजूद बोरिंग नहीं हुई उनकी संख्या 4, अनुदान मिल गया वाल्ब, पाइप नहीं मिला इसलिए बोरिंग नहीं हुई ऐसे किसानों की संख्या है 9, कुल मिलाकर 154 किसानों की संख्या ऐसी है जिन्हें वर्ष 2021-22 में निशुल्क बोरिंग योजना का लाभ दिया गया। 


मगर दो-चार को छोड़कर बाकी किसानों के यहां बोरिंग नहीं हुई। इस संबंध में बोरिंग टेक्नीशियन नरेंद्र सिंह ने कहा कि इस संबंध में जानकारी जेईएमआई द्वारा मिल सकती है। 


उन्होंने बताया कि 104 लोगों की सूची बनाकर विभाग को सौंपी गई थी। जिसमें 45 लोग ऐसे हैं जिन्होंने बोरिंग नहीं कराई है। इसलिए उनकी सूचना विभाग को उपलब्ध कराई गई है। 


उधर अवर अभियंता करनैलगंज प्रमोद तिवारी का कहना है कि ऑनलाइन पोर्टल पर किसानों के बोरिंग का पंजीकरण होने के बाद उन्हें अनुदान दिया जाता है। 


2021-22 की बोरिंग लगभग हो चुकी है कुछ लोगों की बोरिंग नहीं हुई। जिनका परीक्षण किया जा रहा है की बोरिंग क्यों नहीं कराई गई। 


परीक्षण के बाद विभाग को अवगत कराया जाएगा।

Tags

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ

Top Post Ad



 




Below Post Ad

Comedy Movies

5/vgrid/खबरे