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सिपाही बर्खास्त, भतीजे का चाचा ने फोड़ा भांडा, चाचा को भी ले डूबा बर्खास्त सिपाही

अमरोहा पुलिस में शैक्षिक दस्तावेजों में फर्जीवाड़ा पाए जाने पर सिपाही अखिलेश को बर्खास्त करते हुए मुकदमा दर्ज किया गया है। फर्जी प्रमाण पत्र बनवाने वाले शिकायतकर्ता चाचा ने की शिकायत दर्ज कराई थी, जांच में संलिप्तता पाए जाने पर सहआरोपी बनाया गया है।



उत्तर प्रदेश के अमरोहा पुलिस में तैनात सिपाही अखिलेश का उसके चाचा ने भंडाफोड़ दिया है। जांच के बाद सिपाही को बर्खास्त करके उसके खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है। 


प्राप्त जानकारी के मुताबिक देहात कोतवाली पुलिस में दर्ज मुकदमे के मुताबिक फर्जी शैक्षिक दस्तावेजों के जरिए नौकरी कर रहे सिपाही के खिलाफ गंभीर आरोप है, जांच में पर्दाफाश होने और स्पष्ट जवाब न दे पाने के बाद कार्यवाही की गई है। जिसमें आरोपी सिपाही के साथ-साथ शिकायतकर्ता को सह आरोपी बनाया गया है। मामले में पुलिस ने जांच पड़ताल शुरू कर दिया है।


चाचा को भी ले डूबा सिपाही 

आरोपी सिपाही का भंडाफोड़ करने वाले गौतम बुद्ध नगर जिले के दादरी रहने वाले सिपाही अखिलेश के चाचा विनोद कुमार पुत्र भूले सिंह ने आपसी रंजिश के चलते सिपाही की शिकायत कर दी, इसके बाद सिपाही ने ऐसा दांव खेला कि शिकायतकर्ता चाचा सह आरोपी बना लिए गए।


कैसे फंसे चाचा 

दरअसल, शिकायत के बाद शुरू हुई जांच के दौरान जब सिपाही के आरोप की पुष्टि होने लगी, तब सिपाही ने सर्वेश कुमार उर्फ अमित से गवाही दिखाते हुए इस आशय की पुष्टि कार्रवाई की इंटरमीडिएट के प्रमाण पत्र को चाचा ने ही उपलब्ध कराया था। इसी कारण से उन्हें प्रमाण पत्र के फर्जी होने की जानकारी थी। जांच पड़ताल और गवाहों की बात से जांच इस नतीजे पर पहुंची कि शिकायतकर्ता चाचा को अखिलेश के पुलिस भर्ती होने से पहले ही प्रमाण पत्रों के फर्जी होने की जानकारी थी। 


कैसे खुली पोल

आरोपी सिपाही के चाचा विनोद कुमार ने वर्ष 2022 के 12 सितंबर को पुलिस महानिदेशक लखनऊ को शिकायती पत्र देते हुए आरोप लगाया कि अखिलेश कुमार वर्ष 2009 में इंटरमीडिएट के फर्जी प्रमाण पत्र के जरिए पुलिस में भर्ती हुआ है। मामले को गंभीरता से लेते हुए जांच की गई। वर्ष 2023 के 30 जनवरी को क्षेत्राधिकारी अमरोहा ने पुलिस उपाधीक्षक मुनेश कुमार शमी को जांच रिपोर्ट सौंप दी। जांच में पाया गया कि आरक्षी अखिलेश कुमार अनुत्तीर्ण है। जिससे शिकायतकर्ता विनोद कुमार के आरोपों की पुष्टि हो गई। प्रकरण में गहराई से जांच करने के लिए शैक्षिक विद्यालय, बलिया के ज्योति महान इंटरमीडिएट इंटर कॉलेज सेमरी में सत्यापन कराया गया, जहां विद्यालय में अखिलेश से संबंधित दस्तावेज नहीं पाए गए। 


आरआई ने दर्ज कराया मुकदमा 

फर्जी मार्कशीट पर 14 वर्षों से नौकरी कर रहे सिपाही अखिलेश और उसके शिकायतकर्ता चाचा विनोद के खिलाफ आरआई के शिकायती पत्र पर फर्जीवाड़ा का मुकदमा दर्ज कर सिपाही को बर्खास्त कर दिया गया है। 

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