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BALRAMPUR...एक वर्ष पूर्ण होने पर कुलपति ने गिनाई उपलब्धियां

अखिलेश्वर तिवारी 
जनपद बलरामपुर में नव सृजित मां पाटेश्वरी विश्वविद्यालय, बलरामपुर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का ड्रीम प्रोजेक्ट है। मां पाटेश्वरी विश्वविद्यालय की घोषणा और 15 मार्च 2024 को मुख्यमंत्री जी द्वारा शिलान्यास के बाद बलरामपुर जनपद के कोयलरा गांव में विश्वविद्यालय के भवन का निर्माण कार्य तीव्र गति से जारी है।
3 दिसंबर 2024 को प्रोफेसर रवि शंकर सिंह ने मां पाटेश्वरी विश्वविद्यालय के प्रथम कुलपति का पदभार ग्रहण किया। उन्होंने कुलपति के रूप में एक वर्ष का कार्यकाल पूर्ण कर लिया है । इस एक वर्ष में कुलपति और उनकी टीम के अथक प्रयास से विश्वविद्यालय न सिर्फ तेजी से प्रगति कर रहा है बल्कि अल्प समय में प्रथम शैक्षणिक सत्र का संचालन भी प्रारंभ हो चुका है। बीते एक वर्ष में मां पाटेश्वरी विश्वविद्यालय विभिन्न उपलब्धियां हासिल कर देश के सर्वाधिक पिछड़े और नेपाल सीमा से सटे देवीपाटन मंडल में शैक्षणिक गतिविधियों का केंद्र बन गया है। 3 दिसंबर 2024 को प्रोफेसर रविशंकर सिंह ने मां पाटेश्वरी विश्वविद्यालय के प्रथम कुलपति का पदभार ग्रहण किया। 12 जनवरी 2025 से 26 जनवरी 2025 के मध्य श्री भारती प्रज्ञा आराधन पखवाड़ा मनाया गया । इसके अंतर्गत देश के प्रखर विद्वानों के साथ ऑनलाइन सेमिनार का आयोजन किया गया ।15 मार्च 2025 को कुलपति के निर्देशन में विश्वविद्यालय ने अपना प्रथम स्थापना दिवस धूमधाम से मनाया। 18 मार्च 2025 को मां पाटेश्वरी विश्वविद्यालय और महारानी लाल कुँवरि स्नातकोत्तर महाविद्यालय के संयुक्त तत्वाधान में महाविद्यालय सभागार में महाकुंभ 2025 का अवदान विषय पर एक राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम में संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय, वाराणसी के कुलपति प्रोफेसर बिहारी लाल शर्मा जी मुख्य अतिथि थे। मां पाटेश्वरी विश्वविद्यालय, बलरामपुर के कुलपति प्रोफेसर रविशंकर सिंह ने इस कार्यक्रम की अध्यक्षता की। 20 मार्च 2025 को शक्तिपीठ देवीपाटन मंदिर के कांफ्रेंस हॉल में गोरक्ष पीठाधीश्वर, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कुलपति प्रोफेसर रवि शंकर सिंह की उपस्थिति में मां पाटेश्वरी विश्वविद्यालय की वेबसाइट और लोगो का अनावरण किया। 21 मार्च 2025 को धर्म, अध्यात्म और आधुनिकता विषय पर राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन मां पाटेश्वरी विश्वविद्यालय और किसान स्नातकोत्तर महाविद्यालय, बहराइच के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित किया गया। 16 मई 2025 को विश्वविद्यालय के कुलपत्ति और उनकी टीम के अथक प्रयास के फलस्वरूप मां पाटेश्वरी विश्वविद्यालय को यूजीसी की मान्यता प्रदान हुई और विश्वविद्यालय को यूजीसी (2F) खंड के अंतर्गत सूचीबद्ध किया गया। 27 मई 2025 को कुलपति और समर्थ पोर्टल के नोडल ऑफिसर डॉक्टर जितेंद्र कुमार और उनकी टीम के अथक प्रयास से समर्थ पोर्टल पर मां पाटेश्वरी विश्वविद्यालय के विद्यार्थियों का रजिस्ट्रेशन और प्रवेश प्रारंभ हुआ। 28 मई 2025 को प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल द्वारा विश्वविद्यालय की आठ अंतरिम समितियों को अनुमोदित किया गया जिसमें विद्या परिषद, वित्त समिति, कला संकाय बोर्ड, विज्ञान संकाय बोर्ड, वाणिज्य संकाय बोर्ड, शिक्षा संकाय बोर्ड, संकायों के संकायाध्यक्ष और परीक्षा समिति शामिल है। 4 जून 2025 को विश्वविद्यालय के निर्माणाधीन परिसर को हरा-भरा बनाने के उद्देश्य से कुलपति के निर्देशन में वृहद पौधारोपण अभियान चलाया गया। 6 जून 2025 को विश्वविद्यालय ने अपने पहले एकेडमिक प्रोग्राम की घोषणा की और पीएचडी प्रोग्राम में प्रवेश के लिए शोध पात्रता परीक्षा 2025 का ऑनलाइन आवेदन पत्र जारी किया। 13 जून 2025 को प्रदेश की राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल ने मां पाटेश्वरी विश्वविद्यालय के अंतरिम कार्य समिति का अनुमोदन प्रदान किया। 21 जून 2025 को विश्वविद्यालय के निर्माणाधीन प्रांगण में अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस का आयोजन किया गया। इस अवसर पर कुलपति और उनकी टीम ने परिसर में पौधारोपण अभियान भी वलाया। 23 जून 2025 को विश्वविद्यालय के पहले एकेडमिक प्रोग्राम के अंतर्गत पीएचडी प्रोग्राम में प्रवेश के लिए शोध पात्रता परीक्षा आयोजित की गई। 25 जून 2025 को कुलपति के विशेष प्रयासों से मां पाटेश्वरी विश्वविद्यालय को नेशनल डिजिटल लाइब्रेरी आफ इंडिया क्लब की सदस्यता प्राप्त हुई जो यहां के विद्यार्थियों के लिए काफी लाभदायक सिद्ध होगी। 28 जून 2025 को विश्वविद्यालय के पहले एकेडमिक प्रोग्राम शोध पात्रता परीक्षा 2024-25 का परिणाम घोषित किया गया जिसमें 254 परीक्षार्थी साक्षात्कार के लिए चयनित हुए। 02 जुलाई 2025 विश्वविद्यालय के लिए एक सुनहरा अवसर था जब गोरक्ष पीठाधीश्वर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गोरखनाथ मंदिर परिसर, गोरखपुर में मां पाटेश्वरी विश्वविद्यालय, बलरामपुर के कुल गीत का विमोचन किया। 14 जुलाई 2025 को श्रावण मास के पहले सोमवार को मुख्यमंत्री उत्तर प्रदेश ने लखनऊ में मां पाटेश्वरी विश्वविद्यालय के अकादमिक, प्रशासनिक और निर्माणाधीन कैंपस के प्रगति की समीक्षा बैठक की। इसी दिन विश्वविद्यालय कैंपस में परास्नातक कक्षाओं के संचालन की अनुमति भी प्रदान की। 27 जुलाई 2025 को कुलपति के निर्देशन में विश्वविद्यालय में शैक्षणिक सत्र 2025 - 26 में परास्रातक कक्षाओं के लिए प्रवेश प्रक्रिया प्रारंभ की गई जिसमें विश्वविद्यालय ने जिन व्यावसायिक पाठ्यक्रमों पर विशेष ध्यान दिया उसमें MCA, LLM, MJMC, M.S.W, M.Sc.(Environmental Science) शामिल हैं। 07 अगस्त 2025 को मां पाटेश्वरी विश्वविद्यालय के वित्त समिति की पहली बैठक संपन्न हुई। जिसमें वर्ष 2025-26 के लिए 6858.40 लाख रुपए का प्रावधान किया गया। 15 अगस्त 2025 को 79वें स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर कुलपति ने विश्वविद्यालय के निर्माणाधीन परिसर में तिरंगा झंडा फहराया। 31 अगस्त 2025 को कुलपति की अध्यक्षता में शैक्षिक परिषद की बैठक संपन्न हुई जिसमें विश्वविद्यालय में स्नातक और परास्नातक कार्यक्रमों के लिए पाठ्यक्रम पर चर्चा हुई और उसको अंतिम रूप दिया गया। 26 सितम्बर 2025 को मां पाटेश्वरी विश्वविद्यालय बलरामपुर ने शोध पात्रता परीक्षा की पहली मेरिट सूची जारी की। 28 सितम्बर 2025 को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विश्वविद्यालप के निर्माणाधीन परिसर का जायजा लिया। मुख्यमंत्री ने विश्वविद्यालय परिसर में त्रिवेणी वृक्ष (पीपल, पाकड और बरगद) का रोपण किया और इस रूप में विकसित बलरामपुर की आधारशिला रखी। मुख्यमंत्री ने पहले हेलीकॉप्टर से विश्वविद्यालय के निर्माणाधीन कैंपस का निरीक्षण किया उसके बाद मुख्य द्वार के पास बने हेलीपैड पर उत्तरे। विश्वविद्यालय की आधारशिला रखने के बाद मुख्यमंत्री का यह विश्वविद्यालय में दूसरा दौरा था। मुख्यमंत्री ने विश्वविद्यालय के निर्माण कार्य का जायजा लिया और कार्यदाई संस्था को निर्धारित समयावधि में निर्माण कार्य पूरा करने का निर्देश दिया। उन्होंने निर्देश दिया की विश्वविद्यालय का भवन फरवरी 2026 तक पूरी तरह तैयार हो जाना चाहिए। मुख्यमंत्री ने कृषि विज्ञान केंद्र, पचपेड़वा को विश्वविद्यालय से संबंध करने का निर्देश भी दिया। तत्पक्षात मुखामंत्री ने विश्वविद्यालय के सामने स्थित तालाब को डिपार्मेंट आफ फिशरीज के रूप में विश्वविद्यालय के कृषि विभाग में शामिल करने का निर्देश दिया। मुख्यमंत्री ने इस दौरान विश्वविद्यालय के सामने बनने वाले फोरलेन रोड के निर्माण कार्य में तेजी लाने का भी निर्देश दिया। विश्वविद्यालय में ही मुख्यमंत्री ने समीक्षा बैठक की जिसमें कुलपति प्रोफेसर रविशंकर सिंह, उच्च शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव एमपी अग्रवाल, लोक निर्माण विभाग के प्रबंध निदेशक आर एन सिंह, सदर विधायक पलटू राम और जिलाधिकारी पवन अग्रवाल मौजूद थे। 17 अक्टूबर 2025 को विश्वविद्यालय ने पूर्ण उत्साह के साथ शैक्षिक सत्र 2025-26 के लिए परास्रातक कक्षाओं का ओरियंटेशन प्रोग्राम आयोजित किया। इसमें कुलपति, विभिन्न विभागों के विभागाध्यक्ष, प्रशासनिक अधिकारी कर्मचारी और नव प्रवेशित छात्र शामिल हुए। इस अवसर पर कुलपति ने विश्वविद्यालय के शैक्षणिक, शोध संबंधी और सामाजिक उद्देश्य के बारे में बताते हुए कहा कि यह विश्वविद्यालय शिक्षा के क्षेत्र में लगातार सर्वोच्च प्रदर्शन की ओर उन्मुख हो रहा है।

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