Commendable work of Muslim woman
रजनीश / ज्ञान प्रकाश
करनैलगंज(गोंडा)। एक मुस्लिम महिला द्वारा एक बन्दर की जान बचाकर उसकी सेवा व इलाज कराकर जान बचाना क्षेत्र में चर्चा का विषय है। एक बंदर करीब एक सप्ताह पूर्व करनैलगंज रेलवे स्टेशन के समीप रेलवे के हाईटेंशन तार की चपेट में आ गया और उसे करंट लगा। करंट का झटका इतना तेज था कि बंदर वहां से करीब 10 मीटर दूर गिरा। लोगों ने उसे मृत समझा और वहीं छोड़ दिया। रात के समय किसी ने उस बंदर को मृत समझकर रेलवे लाइन के किनारे स्थित तालाब में फेंक दिया। दूसरे दिन सुबह ग्राम भिंभा पुरवा की एक मुस्लिम महिला जाकिरा पत्नी इस्लाम ने उसे देखा तो बन्दर अपनी पलकें झपक रहा था। इतना देखने के बाद में वह महिला बंदर को उठाकर अपने घर ले गई जहां गर्म पानी से नहलाने के बाद उसका दवा व उपचार कराया और प्रतिदिन तेल की मालिश तथा हाथ पैरों को सही करने के लिए हाथ पैर दबाना शुरू कर दिया। धीरे-धीरे बंदर पूरी तरह चेतना में आकर सही हो गया। अब वह बंदर की खुद देखभाल कर रही है और दूध, खाना व फल मंगा कर उसे खिलाती है। हालांकि अभी बंदर पूरी तरीके से दौड़ या चल नहीं सकता इसलिए उसे एक चादर में लपेटकर अपने दरवाजे पर रखती है। एक मुस्लिम महिला का बंदर की जान बचाना क्षेत्र में चर्चा का विषय बना हुआ है लोग उसकी तारीफ कर रहे हैं।
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