अर्पित सिंह
गोण्डा, उत्तर प्रदेश: जनपद गोण्डा की जनता को हाल ही में हीटवेव (लू) के विपरीत प्रभावों से बचने के लिए एक नई उपायुक्त रणनीति की शुरुआत की गई है। जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण द्वारा बनाए गए शार्ट वीडियो का उत्तर प्रदेश राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के उपाध्यक्ष द्वारा उद्घाटन किया गया। इस मौके पर जनपद को प्रदेश में पांचवीं रैंक प्राप्त होने पर बधाई दी गई है।
जनपद गोण्डा के जिलाधिकारी श्रीमती नेहा शर्मा ने इस अभियान को नेतृत्व दिया है और उन्होंने यहाँ तक की जनपद के संबंधित विभागों के साथ मिलकर हीटवेव से बचाव के लिए उपायों का आयोजन किया। जिला प्रशासन द्वारा किए जा रहे कार्यों की महत्वाकांक्षा समीक्षा के दौरान बनाए गए वीडियो को उत्तर प्रदेश राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के उपाध्यक्ष द्वारा उद्घाटन किया गया।
उत्तर प्रदेश राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने इस वर्ष संभावित लू बचाव को लेकर प्रदेश के विभिन्न विभागों आपदा, स्वास्थ्य, श्रम, कृषि सहित अन्य विभागों के अधिकारियों को एक दिवसरीय कार्यशाला में प्रशिक्षण दिया गया। इस कार्यशाला में बताया गया कि जलवायु परिवर्तन के कारण आपदाओं में परिवर्तन आया है। जलवायु परिवर्तन के कारण आपदाओं का स्वरुप, समय और व्यापकता में परिवर्तन आ रहा है। इस बदलते मौसम के परिणामस्वरूप, प्राकृतिक और मानव जनित आपदाओं में वृद्धि हो रही है। ग्लोबल वार्मिंग के कारण तापमान और वर्षा प्रक्रिया में नियमित बदलाव हो रहा है, जिससे बाढ़, चक्रवात, सूखा, बेमौसम बरसात, हीटवेव/लू, आदि प्राकृतिक आपदाओं में भी वृद्धि हो रही है।
हीटवेव प्रबंधन का मुख्य उद्देश्य है कि अधिक संख्या में लोगों को इस प्रकार की स्थितियों के लिए तैयार किया जा सके और उन्हें इस प्रकार की स्थितियों से बचाया जा सके। हीटवेव (लू) की योजना के प्रबंधन के माध्यम से जनमानस को जागरूक किया जाएगा और इससे प्रभावित लोगों की संख्या कम होगी।
कार्यक्रम में मौसम विभाग के निदेशक, गुजरात से आए मौसम विशेषज्ञ, प्रोजेक्ट क्वार्डिनेटर प्रवीण किशोर सहित जनपदों के अपर जिलाधिकारी, जिला आपदा विशेषज्ञ बलरामपुर अरूण सिंह, सहित अन्य विभागीय अधिकारीगण उपस्थित रहे। इसके साथ ही, जनपद गोण्डा के जिलाधिकारी ने हीटवेव प्रबंधन की योजना के तहत विभिन्न विभागों के समन्वय से कार्ययोजना तैयार करवाई जा रही है।
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