प्रयागराज में UPSC की तैयारी कर रहे छात्र को लड़की बनने का सुरूर, सर्जिकल ब्लेड से काट लिया अपना गुप्तांग, दर्द बढ़ने पर अस्पताल में भर्ती, बचपन से लड़की बनना चाहता था किशोर।
उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में चौंकाने वाला मामला देखने को मिला है, यूपीएससी की तैयारी करने पहुंचे छात्र को लड़की बनने की धुन सवार हुई, इसके बाद उसने सर्जिकल ब्लेड से खुद को तबाह कर लिया। स्थिति गंभीर होने के बाद अस्पताल में भर्ती कराया गया। जहां उसका इलाज जारी है।
प्राप्त जानकारी के मुताबिक अमेठी जिले का रहने वाला 17 वर्षीय छात्र यूपीएससी की तैयारी करने के लिए प्रयागराज में पहुंचा था। इसी दौरान उसे अपने बचपन के सपने को साकार करने का मन हो गया। इसके बाद उसने सोशल मीडिया का सहारा लेते हुए खुद पर ही रिसर्च कर डाला। जिसके परिणाम स्वरुप उसकी स्थिति गंभीर हो गई। अब उसका मेडिकल कॉलेज में इलाज जारी है।
क्या है पूरा मामला
दरअसल, 17 वर्षीय छात्र बचपन से ही खुद में लड़कियों के जैसे गुण महसूस करता था। उसे लगता था कि ईश्वर ने उसे लड़कियों के सारे गुण दिए हैं। लेकिन उसे लड़का बना दिया गया है। ऐसी स्थिति में उसने खुद को लड़की बनाने का फैसला कर लिया। जिसके लिए छात्र को चिकित्सीय सलाह के साथ-साथ चिकित्सक की भी आवश्यकता थी, जिसकी भरपाई करने के लिए उसने सोशल मीडिया का सहारा लिया।
सोशल मीडिया से सीखा तरीका
सोशल मीडिया पर सर्च करके छात्र ने जानकारी अर्जित की। इसके बाद उसने एनेस्थीसिया इंजेक्शन प्राप्त करने का विकल्प तलाशना शुरू कर दिया। जैसे ही छात्र ने इंजेक्शन प्राप्त कर लिया, उसे लगा कि अब उसके मन की मुराद पूरी हो जाएगी। इसके बाद उसने खौफनाक कदम उठा लिया।
प्राइवेट पार्ट काट कर किया अलग
बाजार से सर्जिकल ब्लेड और मरहम पट्टी खरीदने के बाद छात्र ने खुद को एनेस्थीसिया इंजेक्शन लगा लिया। दवा का असर होने के बाद सर्जिकल ब्लेड से खुद के प्राइवेट पार्ट को काटकर अलग कर दिया। जिससे पूरा कमरा खून से लाल हो गया। मरहम पट्टी करने तक उसकी स्थिति नॉर्मल थी, लेकिन ज्यों ज्यों इंजेक्शन का असर घटना गया उसकी स्थिति बिगड़ते चली गई।
अस्पताल में भर्ती
उसके तड़पने और दर्द से कराहने की आवाज सुनकर मकान मालिक उसके कमरे में दाखिल हो गए, अंदर का नजारा देखा तो उनके पैरों तले जमीन खिसक गई। तत्काल तेज बहादुर सप्रू अस्पताल को फोन करके एंबुलेंस बुला लिया। मौके पर पहुंची एंबुलेंस टीम ने उसकी स्थिति को देखा तो वह भी दंग रह गई। किशोर को इलाज के लिए अस्पताल पहुंचाया गया, लेकिन स्थिति को गंभीर देखते हुए चिकित्सकों ने एसआरएन अस्पताल के लिए रेफर कर दिया।
मां की गुजारिश
मामले की जानकारी मिलते ही अमेठी से छात्र की मां प्रयागराज पहुंच गई। उसने डॉक्टर से संपर्क करके बेटे को पुनः नॉर्मल लड़के के स्थिति में करने की गुजारिश की, लेकिन चिकित्सकों ने आश्वासन देते हुए कहा कि किशोर ने जिस तरह से कदम उठाया था, इसमें उसकी जान भी जा सकती थी।
क्या कहते हैं चिकित्सक
वरिष्ठ सर्जन डॉक्टर संतोष सिंह ने बताया कि 17 वर्षीय किशोर को अस्पताल में एडमिट करके इलाज किया जा रहा है।
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