अमरजीत सिंह
फैजाबाद :अयोध्या. राम मंदिर-बाबरी मस्जिद विवाद के हल की संभावनाओं को तलाशने मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्रीराम की पावन जन्म स्थली अयोध्या पहुंचे। आध्यात्मिक गुरु श्री श्री रविशंकर ने एक बंद कमरे में श्री राम जन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष महंत नृत्य गोपालदास से मुलाकात की। करीब 15 मिनट तक चली बातचीत के बाद कमरे से बाहर निकले आध्यात्मिक गुरु श्री श्री रविशंकर ने कहा कि यह विवाद सदियों से इस देश में चला आ रहा है। हो सकता है कि इस विवाद के हल में 2 महीने का समय लग जाए। 6 महीने का समय लग जाए लेकिन दोनों समुदायों को एक मंच पर लाकर आपसी बातचीत के जरिए इस विवाद के हर की पूरी उम्मीद जगी है। हमें विश्वास है कि हम इस बात का हल कर ले जाएंगे
राम जन्मभूमि बाबरी मस्जिद विवाद के समझौते को लेकर अयोध्या पहुंचे आध्यात्मिक गुरु श्री श्री रविशंकर ने श्री राम जन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष महंत नृत्यगोपाल दास से मुलाकात की है इसके साथ ही मंदिर के घर में विराजमान भगवान के विग्रह का दर्शन और पूजन किया इस दौरान अयोध्या के कई वर्ष स्टेशन मणिराम छावनी मंदिर परिसर में मौजूद रहे दर्शन और पूजन करने के बाद आध्यात्मिक गुरु श्री श्री रविशंकर अपने समर्थकों समय दीनबंधु नेत्र चिकित्सालय पहुंच गए हैं जहां पर राम जन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष महंत नृत्यगोपाल दास के साथ उनकी बातचीत चल रही है
राम मंदिर के दो पक्षकारों से करेंगे मुलाकात अपने अयोध्या कार्यक्रम के तहत आध्यात्मिक गुरु श्री राम जन्म भूमि का दर्शन भी करेंगे और राम मंदिर मुकदमे में मुख्य पक्षकार निर्मोही अखाड़ा और बाबरी मस्जिद के पक्षकार इकबाल अंसारी और हाजी महबूब से मुलाकात करेंगे। आपको बताते चलें कि गुरुवार को आध्यात्मिक गुरु श्री श्री रविशंकर ने अयोध्या में मंदिर मस्जिद विवाद के हल को लेकर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से भी मुलाकात की थी और अयोध्या में मंदिर मस्जिद विवाद के हल के लिए प्रयासरत आध्यात्मिक गुरु श्री श्री रविशंकर आज पूरा दिन अयोध्या में रहेंगे और इस विवाद के दोनों पक्षकारों से मुलाकात कर एक सर्वमान्य हल निकालने का प्रयास करेंगे चुनाव आते ही लोगों को याद आता है मंदिर-मस्जिद मुद्दा श्री श्री रविशंकर मोहम्मद इकबाल अंसारी ने कहा कि मंदिर-मस्जिद का मुद्दा कोर्ट से बाहर सुलझ नहीं सकता है ऐसे यह मुद्दा न तो सुलझ सकता है और न ही कोई सुलझाना चाहता है उन्होंने कहा कि लोग राजनीतिक स्वार्थ के निहितार्थ चुनाव से पहले मंदिर-मस्जिद का राग अलापते हैं उनका मकसद इस मुद्दे के जरिए राजनीतिक रोटियां सेकने का होता है इकबाल अंसारी ने कहा कि हम लोग भी देखेंगे कि श्री श्री रविशंकर कौन सा फॉर्मूला लेकर आते हैं
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