स्थानीय लोग मस्जिद की जमीन पर पीएसी लगाने का कर रहे विरोध
ए. आर. उस्मानी
लखनऊ। मामला लखनऊ के फैजाबाद रोड स्थित लेखराज मार्केट के पास का है, जहां पर एक तरफ दरगाह और मस्जिद है, तो दूसरी तरफ मंदिर बनाया गया है। स्थानीय लोगों के अनुसार विवाद 1981 से चल रहा है। लोगों का कहना है कि पहले यहां पर किसी तरह का कोई विवाद नहीं था। एक समुदाय का कहना है कि यहां पर नट वीर बाबा की समाधि है, जबकि दूसरे समुदाय का कहना यह है कि यह पीर बाबा की मजार है और वक्फ बोर्ड में कोहना वाली मस्जिद के नाम से रजिस्टर्ड है, जिसका वक़्फ़ नंबर 454 है।
26 मई की शाम विवाद उस वक्त शुरू हुआ जब पीएसी ने मस्जिद की जमीन पर दूसरा कैंप लगाया। वहां मौजूद नमाजियों ने इस बात का विरोध किया। मौके पर मौजूद स्थानीय नमाजियों का कहना है कि यहां पर कभी किसी तरह का कोई विवाद नहीं रहा। रमजान के समय मस्जिद में नमाजियों की संख्या ज्यादा होती है और पीएसी ने नमाज की जगह पर ही कैंप लगा रखा है। स्थानीय लोगों का कहना है कि पीएसी के कैंप लगाने पर उन्हें कोई एतराज नहीं है किंतु एक पुराना पीएसी का कैंप पहले से लगा हुआ है तो दो नए कैंप भी वही बीचो बीच लंबा कर के लगा दिये गए हैं जिससे यह लग रहा है कि ज़मीन को आधा आधा बांटा जा रहा है।
नमाज पढ़ने की जगह पर कैंप लगाने से नमाजियों को दिक्कत हो रही है और नमाज भी नहीं हो पा रही है। नमाज़ियों का कहना है कि कैम्प मस्जिद की ज़मीन के बाहर हिस्से में लगे या फिर कोने में। स्थानीय नमाजियों ने आला अधिकारियों को बुलाने की मांग की मगर कोई भी आला अधिकारी मौके पर नहीं पहुंचा। एसडीएम ने इस बात को स्वीकार किया कि वह कैम्प उनके आदेश पर लगा है जो कि ईद की नमाज़ के बाद हटा लिया जाएगा।
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